Saturday, February 22, 2025
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आगामी बजट में कृषि क्षेत्र को सशक्त बनाने और किसानों की आय बढ़ाने पर रहेगा विशेष फोकस: कृषि मंत्री

चंडीगढ़, 21 जनवरी:

हरियाणा के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री श्री श्याम सिंह राणा ने राज्य सरकार की किसानों की भलाई और कृषि क्षेत्र को सशक्त बनाने की प्रतिबद्धता दोहराई है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी के नेतृत्व वाली “डबल इंजन सरकार” आगामी बजट में किसानों के कल्याण पर विशेष फोकस करेगी।

राणा ने जानकारी दी कि वित्त वर्ष 2025-26 के लिए मुख्यमंत्री ने हिसार स्थित चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय में पूर्व-बजट परामर्श बैठक आयोजित की थी। इस बैठक में किसानों, कृषि वैज्ञानिकों और किसान उत्पादक संगठनों के प्रतिनिधियों के साथ विचार-विमर्श किया गया। बैठक के दौरान 52 से अधिक सुझाव किसानों और विशेषज्ञों द्वारा साझा किए गए। इनमें किसान संघों, किसान उत्पादक संगठनों और फेडरेशन के सदस्यों के इनपुट शामिल थे। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर आश्वासन दिया कि सरकार किसानों की आय बढ़ाने और उनकी आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए विशेष रणनीति पर काम कर रही है।

समस्याओं के समाधान पर जोर
कृषि मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री ने हाल ही में किसानों के साथ विस्तार से बातचीत की, ताकि उनकी समस्याओं को समझा जा सके। उन्होंने आश्वासन दिया कि आगामी बजट सत्र में इन समस्याओं के समाधान के लिए प्रभावी कदम उठाए जाएंगे।

योजनाओं से किसानों को लाभ
राणा ने केंद्र और राज्य सरकार की संयुक्त पहल का उल्लेख करते हुए बताया कि हरियाणा के किसानों को प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना, सॉयल हेल्थ कार्ड योजना, ई-नाम (नेशनल एग्रीकल्चर मार्केट), “मेरा पानी-मेरी विरासत” योजना, किसान मित्र योजना, और भावांतर भरपाई योजना जैसी योजनाओं का लाभ मिल रहा है। उन्होंने कहा कि ये योजनाएं जल संरक्षण, फसल विविधीकरण और किसानों की आर्थिक सुरक्षा को बढ़ावा देती हैं।

उन्होंने यह भी बताया कि हरियाणा देश का एकमात्र राज्य है, जो केंद्र सरकार द्वारा तय न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर सभी 24 फसलों की खरीद करता है। किसानों को उनकी फसल का भुगतान समय पर सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं।

खाद पर विशेष सब्सिडी
राणा ने केंद्र सरकार द्वारा डाई-अमोनियम फॉस्फेट (डीएपी) खाद पर दिए गए विशेष पैकेज का भी उल्लेख किया। उन्होंने बताया कि ₹3,850 करोड़ के वित्तीय प्रावधान के साथ इस पैकेज के तहत ₹3,500 प्रति टन की सब्सिडी प्रदान की गई है। इस पहल से किसानों को वैश्विक बाजार में उतार-चढ़ाव के बावजूद सस्ती दरों पर डीएपी खाद उपलब्ध हो रही है।

कृषि मंत्री ने विश्वास जताया कि राज्य सरकार की किसान हितैषी नीतियां और आगामी बजट में कृषि क्षेत्र को प्राथमिकता देने से किसानों की आय में वृद्धि और उनकी समस्याओं के समाधान की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति होगी।

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