Friday, October 18, 2024
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हरियाणा सरकार ने पिछले 10 वर्षों में बिना पर्ची बिना खर्ची के दी सरकारी नौकरियां

मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने एचसीएस-2023 के उत्तीर्ण अभ्यर्थियों को किया सम्मानित

एक अधिकारी का प्रथम कर्तव्य जनता की सेवा करना और उनके जीवन को सरल बनाना है- मुख्यमंत्री

हरियाणा सरकार ने पिछले 10 वर्षों में बिना पर्ची बिना खर्ची के मेरिट पर दी सरकारी नौकरियां

हरियाणा में मुसलमानो को आरक्षण नहीं होने देंगे – गृह मंत्री

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चंडीगढ़, 17 जुलाई- हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने हरियाणा सिविल सेवा-2023 उत्तीर्ण करने वाले 113 अभ्यर्थियों को बधाई एवं शुभकामनाएं देते हुए कहा कि एक अधिकारी का प्रथम कर्तव्य जनता की सेवा करना और उनके जीवन को सरल बनाना है। इसलिए आप सभी पूरी मेहनत और ईमानदारी से अपने कर्तव्यों का निर्वहन करें। उन्होंने मुख्य सचिव को निर्देश दिए कि आज ही सभी चयनित अभ्यर्थियों की ज्वाइनिंग करवाई जाए।

मुख्यमंत्री आज यहां आयोजित हरियाणा सिविल सेवा-2023 के उत्तीर्ण अभ्यर्थियों के सम्मान समारोह में बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे।

श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पिछले 10 सालों में देश में नौकरियों में जिस प्रकार से पारदर्शिता देखने को मिली है, उसी सोच के अनुसार हरियाणा सरकार ने भी पिछले 10 वर्षों में लगातार बिना पर्ची-बिना खर्ची के केवल मेरिट पर सरकारी नौकरियां दी हैं।

उन्होंने कहा कि पहले किसी का कोई रिश्तेदार होता था वही एचसीएस लगता था, लेकिन हमारे मिशन मेरिट के कारण आज बिना पर्ची-बिना खर्ची के गरीब परिवार के बच्चे भी अधिकारी लग रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार का ध्येय है कि मेहनतकश युवाओं को उनकी मेहनत का फल मिले और अपनी योग्यता के आधार पर वे सरकारी सेवा में आएं।

उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री और केंद्रीय मंत्री श्री मनोहर लाल ने कहा था कि प्रदेश में पारदर्शी सिस्टम बनाना है तो स्टैंड लेना पड़ेगा। हमने मजबूती से स्टैंड लिया और व्यवस्था परिवर्तन करके सिस्टम में पारदर्शिता लेकर आए हैं, जिसका लाभ आज प्रदेश के युवाओं को मिल रहा है।

श्री नायब सिंह सैनी ने अपना अनुभव सांझा करते हुए कहा कि वे स्वयं बड़े ही साधारण परिवार से हैं, उनके परिवार में किसी ने पंचायत चुनाव भी नहीं लड़ा था, लेकिन आज प्रधानमंत्री जी ने उन्हें प्रदेश का मुख्यमंत्री बनाकर बड़ा मान-सम्मान दिया है। जबकि पहले मुख्यमंत्री बनने के लिए या तो राजनेता या मुख्यमंत्री के घर में जन्म लेना पड़ता था।

सरकार की योजनाओं का लाभ अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाना हो लक्ष्य

मुख्यमंत्री ने चयनित अभ्यर्थियों को कहा कि नागरिकों के कल्याण के लिए नीतिगत फैसले लेना सरकार का काम है, लेकिन उन फैसलों को धरातल पर उतारने की जिम्मेवारी अधिकारियों की होती है। सुशासन का अर्थ है कि नागरिकों के जीवन को किस प्रकार सुगम और सरल किया जाए और उन्हें सरकार की योजनाओं का लाभ किस प्रकार पहुंचाया जाए। इसलिए अंत्योदय के दर्शन के अनुरूप समाज के अंतिम व्यक्ति तक सरकार की नीतियों का लाभ पहुंचे यही आपका एकमात्र लक्ष्य होना चाहिए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि नागरिकों की समस्याओं के समाधान के लिए जिलों में प्रतिदिन प्रातः 9 से 11 बजे तक समाधान शिविर लगाए जा रहे हैं। इन शिविरों में उपायुक्त, पुलिस अधीक्षक सहित जिला प्रशासन के तमाम अधिकारीगण मौजूद होते हैं और वे मौके पर ही समस्याओं का समाधान सुनिश्चित करते हैं। इससे लोगों को बड़ी राहत मिल रही है।

ईमानदारी से करें जन सेवा का कार्य- मुख्य सचिव

इससे पहले मुख्य सचिव श्री टीवीएसएन प्रसाद ने संबोधित करते हुए कहा कि आज आप सभी के लिए ऐतिहासिक दिन है, जब आप अपनी मेहनत के बलबूते इस सर्वोच्च सेवा में आए हैं। आप सभी गरीबों के जीवन में आने वाली सभी प्रकार की समस्याओं से परिचित हैं, इसलिए आप सेवा में रहते हुए उनकी समस्याओं का निराकरण अवश्य करें। उन्होंने सभी चयनित अभ्यर्थियों का आह्वान करते हुए कहा कि आप सभी अपनी सेवा में ईमानदारी और नैतिकता कभी न छोड़ें।

इस मौके पर मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव श्री राजेश खुल्लर, स्कूल शिक्षा विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री विनीत गर्ग, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव श्री वी उमाशंकर, विशेष अधिकारी (कम्युनिटी पुलिसिंग और आउटरीच) श्री पंकज नैन, सूचना, जन संपर्क, भाषा एवं संस्कृति विभाग के संयुक्त निदेशक (प्रशासन) श्री गौरव गुप्ता सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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